एक बार एक पठान अपने गधे को नहला रहा होता है कि तभी नज़दीक से गुज़र रहा एक आदमी उस से समय पूछता है; आदमी: भाई साहब टाइम कितना हुआ? आदमी की बात सुन कर पठान नीचे झुकता है और गधे के टट्टे उठा के कहता है; पठान: दो बज गए हैं! पठान कि यह हरकत देख कर आदमी हैरान हो जाता, दूसरे दिन फिर वही आदमी पठान के घर के पास से गुज़र रहा होता है तो पठान फिर अपने गधे को नहला रहा होता है यह देख वह आदमीं फिर पठान से सवाल पूछता है; आदमी : भाई साहब टाइम कितना हुआ? पठान फिर झुकता है और गधे के टट्टे उठता है और जवाब देता है; पठान: तीन बज गए हैं! यह देख आदमी फिर दंग रह जाता है तो हार कर पठान से पूछता है; आदमी: भाई साहब ये आप गधे के टट्टे उठा कर सही-सही समय कैसे बता देते हो? आदमी की बात सुन पठान उस आदमी को गधे नीचे बिठाता है और गधे के टट्टे उठा कर उससे कहता है; पठान: वो देखो, सामने होटल की दीवार पर घडी लगी हुई है ना उसमे से देख कर! |