एक नारी का भावुक सन्देश: मैं एक बेटी हूँ, मैं एक बहन हूँ, मैं एक बीवी हूँ, मैं एक माँ भी हूँ लेकिन... खबरदार जो किसी ने आंटी बोला तो। |
मेरा जो भी तर्जुबा है, तुम्हें बतला रहा हूँ मैं; कोई लब छू गया था तब, कि अब तक गा रहा हूँ मैं; बिछुड़ के तुम से अब कैसे, जिया जाये बिना तड़पे; जो मैं खुद ही नहीं समझा, वही समझा रहा हूँ मैं। |
उसूलों पे आंच आए तो टकराना ज़रूरी है; और ज़िंदा हो तो ज़िंदा नज़र आना जरूरी है। |
इक तर्जे-तगाफुल है सो वह उनको मुबारक; इक अर्जे-तमन्ना है, सो हम करते रहेंगे। अर्थ: 1. तर्जे-तगाफुल - उपेक्षा या बेतवज्जुही की आदत या स्वभाव 2. अर्जे-तमन्ना - ख्वाहिश या आरजू की अभिव्यक्ति |
बस यही सोचकर कोई सफाई नहीं दी हमने; की इलज़ाम भले ही झूठे हो पर लगाये तो तुमने! |
उम्मीद वक्त का सबसे बड़ा सहारा है; गर हौंसला है तो हर मौज में किनारा है। |
हुजूम-ए-गम मेरा हमराह था जब मैकदे पहुँचा; मगर एक बेखुदी हमराह थी जब लौट कर आए। |
आते-आते आयेगा उनको ख्याल; जाते-जाते बेख्याली जायेगी। Meaning: बेख्याली - बेखुदी, बेखबरी |
हुए जिस पे मेहरबां तुम कोई खुशनसीब होगा; मेरी हसरतें तो निकली मेरे आँसुओं में ढलकर। |
यह उड़ी-उड़ी सी रंगत, ये खुले-खुले से गेसूं; तेरी सुबह कह रही है, तेरी रात का फसाना। Meaning: गेसूं - बाल, केश, ज़ुल्फ |