प्रभुदेवा ने बताया, "मेरे दोस्त ने चेन्नई में न केवल मेरा पासपोर्ट, बल्कि मेरे बेटों के भी पासपोर्ट खो दिए। मैं फ्लोरिडा में इंटरनेशनल इंडियन फिल्म अकेडमी (आइफा) वीकेंड एंड अवार्ड्स में शिरकत करने के बाद उन्हें डिजनीलैंड ले जाना चाहता था।"
उन्होंने कहा, "सौभाग्य से, मैंने अपने बेटों को छुट्टी की योजना के बारे में नहीं बताया था। मैं उन्हें सरप्राइज देना चाहता था। वे अगर छुट्टियों पर जाने की योजना के बारे में पहले जान जाते तो इसके रद्द होने पर बहुत निराश हुए होते।"
अभिनेता-नृत्यनिर्देशक-फिल्मकार प्रभुदेवा इस यात्रा के रद्द होने के पीछे एक बड़ी वजह देखते हैं।
उन्होंने कहा, "हम तीनों के पासपोर्ट एक साथ कैसे घायब हो सकते हैं, जब तक कि इसके पीछे कोई वजह न हो? यह यात्रा मेरे और मेरे बेटों के लिए थी ही नहीं। मेरे ख्याल से इसलिए यह हुआ..नए पासपोर्ट मिलने में दस दिन और लगेंगे।"
प्रभु को नहीं लगता कि परिवार के साथ छुट्टी पर जाते समय एक महिला भी साथ जानी चाहिए?
इस सवाल पर उन्होंने कहा, "मैं जानता हूं कि आपका इशारा किस ओर है। ऐसा इसलिए नहीं है कि मैं रिश्ते में नहीं रहा। मैं पिछले दो वर्षो से अकेला रहा हूं..मैं अब बूढ़ा हो रहा हूं। जल्द मेरे बेटों की प्रेमिकाएं होने का समय आने वाला है।"
उनके बेटों में करियर के रूप में नृत्य को चुनने के प्रति झुकाव नहीं दिखता।
प्रभुदेवा ने कहा, "वे अभी बहुत छोटे हैं। चलिए, यह उन्हीं को तय करने दें कि वे क्या चाहते हैं। हालांकि, मैं अपने पिता के नक्शे कदम (नृत्य) पर चला, लेकिन यह जरूरी तो नहीं कि मेरे बेटे भी ऐसा करें।"