हमारी ज़िंदगी है दोस्तों की अमानत; रखना मेरे खुदा सदा उनको सलामत; देना उन्हें खुशियाँ सारे जहान की; बन जाए वो तारीफ हर एक ज़ुबान की। |
दोस्ती का हक़ हम अदा यूँ करते हैं; तेरे नाम पे जान भी फ़िदा करते हैं; तुझको फूल भी ज़ख्म ना दे पाएं; खुदा से हर दम यही दुआ करते हैं। |
हर कर्ज़ दोस्ती का अदा कौन करेगा; जब हम ही नहीं रहेंगे तो दोस्ती कौन करेगा; ऐ खुदा, मेरे दोस्त को सदा सलामत रखना; वरना मेरे जीने की दुआ कौन करेगा। |
अपनी तक़दीर में तो कुछ ऐसे ही सिलसिले लिखे हैं; किसी ने वक़्त गुज़ारने के लिए दोस्ती कर ली; तो किसी ने दोस्ती कर के वक़्त गुज़ार लिया। |
दोस्त हैं तो आँसुओं की भी शान होती है; दोस्त ना हो तो महफ़िल भी शमशान होती है; सारा खेल तो दोस्ती का है; वरना अरथी और बारात एक समान होती है। |
रिश्तों की ये दुनियाँ है निराली; सब रिश्तों से प्यारी है दोस्ती तुम्हारी; मंज़ूर है आँसू भी आँखों में हमारी; अगर आ जाए मुस्कान होठों पे तुम्हारी। |
दोस्ती ग़ज़ल है गाने के लिए; दोस्ती नगमा है सुनाने के लिए; ये वो जज़बा है जो सब को नहीं मिलता; क्योंकि आप जैसा दोस्त चाहिए निभाने के लिए। |
दिल्लगी दोस्तों के नाम नहीं होती; दिलदारी दोस्तों की शान नहीं होती है; कहीं भी रहो, पर रहोगे दिल में मेरे; यही सच्ची दोस्ती की पहचान होती है। |
खामोशियों की भी धीमी सी आवाज़ है; तन्हाईयों में भी एक गहरा राज़ है; मिलते नही हैं सबको अच्छे दोस्त यहाँ; आप जो मिले हो हमें खुद पर नाज़ है। |
बेवफ़ा से प्यार नहीं होता; मरने के बाद इंतज़ार नहीं होता; दोस्ती देख कर करना मेरे दोस्त; हर दोस्त हमारी तरह वफ़ादार नहीं होता। |