दस वर्षीय पप्पू और उसके पड़ोस में रहने वाली नौ-वर्षीय चिंकी को साथ-साथ खेलते हुए यह एहसास
हो जाता है कि वे एक-दूसरे से बेहद प्यार करते हैं, और उन्हें शादी कर लेनी चाहिए। पप्पू चिंकी के पिता के पास पहुंच गया, और हिम्मत जुटाकर बोला, "अंकल, मैं और आपकी बेटी चिंकी एक-दूसरे से प्यार करते हैं, और मैं आपसे शादी के लिए उसका हाथ मांगने आया हूं।" चिंकी के पिता को नन्हे शरारती पप्पू की हरकत बेहद प्यारी लगी, और वह डांटने के बजाए मुस्कुराते हुए उससे से पूछते हैं, "यार, तुम अभी सिर्फ 10 साल के हो, और तुम्हारे पास घर भी नहीं है... तुम और चिंकी रहोगे कहां?" पप्पू तपाक से बोला, "चिंकी के कमरे में, क्योंकि वह मेरे कमरे से बड़ा है, और वहां हम दोनों के लिए ज़्यादा जगह है।" चिंकी के पिता को अब भी पप्पू की इस मासूमियत पर प्यार आता है, और वह फिर पूछते हैं, "ठीक है, लेकिन तुम लोग गुज़ारा कैसे चलाओगे, आखिर इस उम्र में तुम्हें नौकरी तो मिल नहीं सकती?" पप्पू फिर बहुत शांत स्वर में जवाब देता है, "हमारा जेबखर्च है न उसे 50 रुपये प्रति सप्ताह मिलता है, और मुझे 100 रुपये प्रति सप्ताह, इस हिसाब से हम दोनों के लगभग 600 रुपये हर महीने मिल जाता है, जो हमारी ज़रूरतों के लिए काफी रहेगा।" चिंकी के पिता इस बात से भौंचक्के रह जाते हैं, कि पप्पू ने इस विषय पर इतनी गंभीरता से, और इतनी आगे तक सोच रखा है सो, वह सोचने लगते हैं कि ऐसा क्या कहें कि पप्पू को जवाब न सूझे, और उसे इस उम्र में चिंकी से शादी न करने के लिए समझाया जा सके कुछ देर बाद वह फिर मुस्कुराते हुए पप्पू से सवाल करते हैं, "यह बहुत अच्छी बात है बेटे कि तुमने इतनी अच्छी तरह सब प्लान किया हुआ है, लेकिन यह बताओ, कि अगर तुम दोनों के बच्चे हो गए, तो क्या यह जेबखर्च कम नहीं पड़ेगा?" पप्पू ने इस बार भी तपाक से जवाब दिया, "अंकल, हम बेवकूफ नहीं हैं... जब आज तक नहीं होने दिए, तो आगे भी रोक लेंगे।" चिंकी के पापा आज तक कोमा में हैं और घरवालों को इसकी वजह तक नही पता। |
एक बार एक अध्यापक कक्षा में बच्चों को रक्त प्रवाह (ब्लड प्रेशर) के बारे में पढ़ा रहा था। अध्यापक: बच्चों जैसा की आप जानते हैं कि अगर मैं अपने सिर के बल खड़ा हो जाऊँगा तो मेरा रक्त मेरे सिर की ओर तेजी से प्रवाहित होने लगेगा जिसकी वजह से मेरा चेहरा लाल पड़ जाएगा। बच्चे: जी मास्टर जी। अध्यापक: तो फिर बच्चो एक बात बताओ अभी जैसे मैं अपने पैरो पर खड़ा हुआ हूँ तो रक्त का प्रवाह मेरे पैरों की तरफ क्यों नहीं हो रहा। अध्यापक की बात सुन कर पप्पू खड़ा हुआ और बोला, "मास्टरजी मैं बताऊँ?" अध्यापक: हाँ बेटा पप्पू तुम बताओ। पप्पू: मास्टरजी क्योंकि आपके सिर की तरह आपके पैर खाली नहीं हैं। |
क्लास में टीचर: सुनो बच्चो कल तुम लोगों का ग्रुप फोटो लिया जायेगा। सब लोग अपने-अपने घर से 50 रुपये ले कर आना। पप्पू, बंटी से: साला ये सब टीचर लोगों की मिली-भगत होती है। एक फोटो के 20 रुपये लगते हैं और हम लोगों से 50-50 रुपये लिए जा रहे हैं, मतलब एक बच्चे से 30 रुपये बचेंगे। अब अपनी ही क्लास में 60 बच्चे हैं तो 60 x 30 = 1800 रुपये, खुली लूट मचा रखी है इन लोगों ने। फिर हमारे पैसों से यह सब स्टाफ रूम में बैठ कर समोसे खाएंगे। चल भाई घर चलते हैं, कल मम्मी से 50 रुपये लेकर आना। घर जाकर पप्पू अपनी मम्मी से: मम्मी कल स्कूल में ग्रुप फोटो लेना है तो टीचर ने 100 रुपये मंगवाए हैं। |
पप्पू नदी के किनारे बैठा हुआ आइने से सूर्य की किरणों को पानी में चमका रहा था। तभी वहां से एक लड़की गुजरी। पप्पू को ऐसा करते देख उसने पूछा, "ये क्या कर रहे हो?" पप्पू: मछली फंसा रहा हूँ। लड़की: मुझे सिखाओगे? पप्पू: 100 रुपये लगेंगे। लड़की ने तुरंत 100 रुपये अपने पर्स से निकाल कर दे दिए। लड़की: अब सिखाओ। पप्पू: बैठ जाओ और देखती रहो। थोड़ी देर में लड़की उकता गई और बोली, "अब तक कितनी फंसी?" पप्पू: आप तीसरी हैं। |