तीन दिवसीय कार्यशाला शनिवार को शुरू हुई और मंगलवार को समाप्त होगी।
अनुपम ने कहा, "कार्यशाला में महज दस विद्यार्थी होंगे। मैं उन्हें ज्ञान नहीं देना चाहता था। मैं स्वयं को गुरु नहीं मानता। मैं सिर्फ अपने जीवन के अनुभवों को उनसे बांटना चाहता हूं फिर चाहे ये अभिनय, लेखन या शिक्षण से जुड़े अनुभव ही क्यों न हों।"
इस संवादमूलक सत्र के लिए जगह का चुना जाना कोई इत्तेफाक नहीं है। यह अनुपम के चिकित्सीय स्कूल की जगह होगी, जहां जिंदगी के प्रहारों से पीड़ित लोगों को आध्यात्मिक, भावनात्मक और शारीरिक उपचार उपलब्ध कराया जाएगा।
अनुपम का अपने मौखिक और लिखित संवादों से 'ज्ञान' बांटना जारी है, वहीं उनका अभिनय करियर भी आगे बढ़ रहा है। अपनी हालिया प्रदर्शित फिल्म 'टोटल सियापा' में उन्होंने एक ब्रिटिश वेश्या के साथ कुछ मजेदार चीजें की हैं।
अनुपम ने बताया, "मैंने फिल्म इन गुदगुदाते दृश्यों के लिए नहीं की। यह फिल्म अपनी पत्नी किरण के साथ काम करने का आनंद लेने के लिए की। वह बहुत प्रतिभाशाली हैं। 'टोटल सियापा' उनकी फिल्म है, मेरी नहीं है। मेरी तो बहुत छोटी सी भूमिका है। मैंने फिल्म इसलिए की क्योंकि हमने इससे पूर्व कभी साथ में काम नहीं किया था।"