एक दिन एक कुत्ता जंगल में रास्ता खो गया तभी उसने देखा एक शेर उसकी तरफ आ रहा है कुत्ते की सांस रुक गयी!
उसने सोचा आज तो काम तमाम है मेरा फिर उसने सामने कुछ सूखी हड्डियाँ पड़ी देखी वो आते हुए शेर की तरफ पीठ कर के बैठ गया और एक सूखी हड्डी को चूसने लगा और जोर जोर से बोलने लगा: वाह शेर को खाने का मज़ा ही कुछ और है एक और मिल जाए तो पूरी दावत हो जाएगी और उसने जोर से डकार मारा! इस बार शेर सकते में आ गया उसने सोचा ये कुत्ता तो शेर का शिकार करता है जान बचा कर भागो और शेर वहां से चम्पत हो गया! पेड़ पर बैठा एक बन्दर ये सब तमाशा देख रहा था उसने सोचा ये मौका अच्छा है शेर को सारी कहानी बता देता हूँ शेर से दोस्ती हो जाएगी और उससे ज़िन्दगी भर के लिए जान का खतरा दूर हो जायेगा! वो फटाफट शेर के पीछे भागा कुत्ते ने बन्दर को जाते हुए देख लिया और समझ गया कि कोई लोचा है! उधर बन्दर ने शेर को सब बता दिया कि कैसे कुत्ते ने उसे बेवक़ूफ़ बनाया है शेर जोर से दहाड़ा, चल मेरे साथ अभी उसकी लीला खत्म करता हूँ और बन्दर को अपनी पीठ पर बैठा कर शेर कुत्ते की तरफ लपका! क्या आप कुत्ते के तेज दिमाग का कारनामा जानना चाहेंगे? कुत्ते ने शेर को आते देखा तो एक बार फिर उसकी तरफ पीठ करके बैठ गया, और जोर जोर से बोलने लगा, इस बन्दर को भेज के एक घंटा हो गया, साला एक शेर फाँसकर नही ला सकता! |
बिक्री के बोझ से बीमार एक सेल्समेन से उसकी पत्नी ने कहा, " इस बार जानवरों के डॉक्टर को दिखाओ तो ही ठीक होगे।"
सेल्समेन: क्यों? पत्नी: रोज़ सुबह मुर्गे की तरह जल्दी उठ जाते हो, घोड़े की तरह भाग के ऑफिस जाते हो। लोमड़ी की तरह इधर उधर से आर्डर बटोरते हो। गधे की तरह दिन भर टारगेट पूरे करते हो। घर आकर परिवार पर कुत्ते की तरह भौंकते हो, शेर की तरह मुझे खाने को पड़ते हो, और फिर भैंस की तरह सो जाते हो, बेचारा इंसानों का डॉक्टर तुम्हे क्या ख़ाक ठीक कर पायेगा। |
एक बार एक इंजीनियरिंग कॉलेज के सभी शिक्षकों को एक हवाई जहाज़ में बैठाया गया, जब सभी शिक्षक बैठ गए तो पायलट ने बड़ी ही ख़ुशी से घोषणा की!
पायलट: आप सभी गणमान्य शिक्षकों को यह जानकर खुशी होगी कि जिस प्लेन में आप बैठे हैं उसे आप ही के कॉलेज के विद्यार्थियों ने बनाया है! बस फिर क्या था इतना सुनने की देर थी कि सभी शिक्षक इस डर से की कहीं उड़ान भरते ही विमान दुर्घटनाग्रस्त ना हो जाए तुरंत नीचे उतर गए, परन्तु प्रिंसिपल साहब बैठे रहे, यह देख पायलट उनके पास गया और उनसे पूछा; पायलट: सर, आप क्यों नहीं उतरे? प्रिंसिपल: मुझे अपने कालेज के शिक्षकों के निकम्मेपन और उससे भी ज्यादा अपने विद्यार्थियों की नालायकी पर भरोसा है, देख लेना यह प्लेन स्टार्ट ही नहीं होगा! |
पत्नी: क्यों जी, गेहूं कहाँ पिसवाया आपने? पति (सहम कर): हमेशा वाली जगह पर। पत्नी: तो गेहूं देकर कहीं सैर सपाटा करने चले गए होंगे? पति: कहीं तो नहीं गया था... वहीं रूका था। पत्नी: ध्यान कहाँ रहता है आप का, आती जाती औरतों को देख रहे होंगे, खूब जानती हूँ आपको? पति (अब पूरी तरह घबरा गया): सच में वही सामने खड़े होकर आटा पिसवाया। पत्नी: झूठ मत बोलो, पूरा ध्यान व्हाट्सएप में होगा बहुत दिनों से नोट कर रही हूँ! घर के काम में आपका बिल्कुल ध्यान नहीं रहता आपका? पति: नहीं, ऐसा कुछ भी नहीं, बताओ तो हुआ क्या? पत्नी: सब कुछ ठीक था तो रोटियां जल कैसे गयी फिर! |