यादों में हम रहें हमेशा यही एहसास रखना; नज़रों से दूर पर दिल के पास रखना; हम यह नहीं कहते कि साथ रहो; दूर से ही पर दुआयों में याद रखना। |
मोहब्बत हर इंसान को आज़माती है; किसी से रूठ जाती है पर किसी पर मुस्कुराती है; मोहब्बत खेल ही ऐसा है; किसी का कुछ नही जाता किसी का सब कुछ चला जाता है। |
दूरियों की न परवाह कीजिए; दिल जब भी पुकारे हमें बुला लीजिए; हम ज़्यादा दूर नहीं आपसे; बस अपनी आँखों को पलकों से मिला लीजिए। |
जब निकलता है कोई दिल में बस जाने के बाद; दर्द कितना होता है बिछड़ जाने के बाद; जो पास होता है उसकी कदर नहीं होती; कमी महसूस होती है दूर जाने के बाद। |
बहेंगी जब सर्द हवाएं; हम खुद को तनहा पाएँगे; एहसास तुम्हारे साथ का; हम कैसे महसूस कर पाएँगे। |
जो जितना दूर होता है नज़रों से, उतना ही वो दिल के पास होता है, मुश्किल से भी जिसकी एक झलक देखने को ना मिले, वही ज़िंदगी मे सबसे ख़ास होता है| |
दूरियां ही नज़दीक लाती हैं; दूरियां ही एक-दूजे की याद दिलाती हैं; दूर होकर भी कोई करीब है कितना; दूरियां ही इस बात का एहसास दिलाती हैं। |
कदमों की दूरी से दिलों के फांसले नहीं बढ़ते; दूर होने से एहसास नहीं मरते; कुछ कदमों का फांसला ही सही हमारे बीच; लेकिन ऐसा कोई पल नहीं जब हम आपको याद नहीं करते। |
बनाने वाले ने दिल कांच का बनाया होता; तोड़ने वाले के हाथ में जख्म तो आया होता; जब भी देखता वो अपने हाथों को; उसे हमारा ख्याल तो आया होता। |
दूरियां होते हुए भी सफ़र वही रहेगा; दूर होते हुए भी दोस्ताना वही रहेगा; बहुत मुश्किल है ये सफ़र जिंदगी का; अगर आपका साथ होगा तो एहसास वही रहेगा। |