मरने का डर जीने के डर से पैदा होता है। जो इंसान पूरी तरह जीता है वो किसी भी वक़्त मरने के लिए तैयार रहता है। |
क्रोध वह तेज़ाब है जो किसी भी चीज जिसपर वह डाला जाये, से ज्यादा उस पात्र को अधिक हानि पहुंचा सकता है जिसमें वह रखा है। |
पहले भगवान ने बेवकूफ लोग बनाये। वो अभ्यास के लिए था। फिर उन्होंने स्कूल बोर्ड्स बनाये। |
साहस भय के प्रति प्रतिरोध है, भय का स्वामित्व है - भय का अभाव नहीं है। |
वो लिखो जो तुम जानते हो। |
`क्लासिक` - एक ऐसी किताब जिसकी लोग प्रशंशा करते हैं और पढ़ते नहीं। |
इस में कोई अचरज नहीं कि सच कल्पना से अनोखा है! कल्पना का कोई अर्थ होना चाहिए। |
हंसी के हमले के आगे कुछ भी नहीं ठहर सकता! |
हास्य मानव जाति की सबसे बड़ा आशीर्वाद है! |
आवश्यकता जोखिम उठाने की जननी है! |