हालाँकि 'माई च्वॉइस' निर्माताओं ने इसे 'वुमन इम्पॉवरमेंट' का नाम दिया है। लेकिन इस वुमन एम्पावरमेंट वीडियो से खुद महिलाऐं भी सहमत नहीं हैं। वीडियो पर खड़े किये गए सवालों में एक सवाल यह भी है कि 'क्या वीडियो विवाह में धोखे को बढ़ावा नहीं देती?'
अब इसकी सफाई में दीपिका ने बयान दिया है कि उनका इरादा लघु फिल्म के माध्यम से रिश्ते में बेवफाई को बढ़ावा देने का कभी नहीं था।
उन्होंने कहा, "मिलीजुली प्रतिक्रियाएं मुझे परेशान नहीं करतीं। लेकिन यह जान कर थोड़ी निराशा हुई कि कुछ पंक्तियों को संदर्भ से अलग ले लिया गया और बढ़ा चढ़ाकर व्यापार की गई तथा हमने उस बिंदु को नजरअंदाज कर दिया जिसे फिल्म के जरिये बताने का प्रयास किया गया।"
दीपिका ने पीटीआई भाषा से कहा कि उन पर बेवफाई का समर्थन करने का आरोप भी लगा। विवाह की संस्था को बेहद पवित्र और ईमानदार बताते हुए दीपिका ने कहा कि वह कभी भी कदाचार का समर्थन नहीं कर सकतीं।"
उन्होंने कहा, "मैंने कभी भी बेवफाई का पक्ष नहीं लिया। मैं जानती हूं कि विवाह नामक संस्था का मेरे लिए क्या मतलब है। यह अत्यंत पवित्र और ईमानदार है। मैं उन लोगों में से हूं जो वफदार, ईमानदार और भरोसेमंद होने में विश्वास रखते हैं। यह एक एेसी संस्था है जिसमें मैं पूरी तरह विश्वास करती हूं। मैं किसी का बचाव नहीं कर रही लेकिन हो सकता है कि वह लोग अपनी जगह सही हों जिनके लिए यह एक मुद्दा है।"
दीपिका ने कहा, "पर मैं स्पष्ट करना चाहती हूं कि मैं बेवफाई का पक्ष नहीं लेती।"