सुखी होने के बहुत से रास्ते हैं पर औरों से ज़्यादा सुखी होने का कोई रास्ता नहीं है! |
जलने वालों की दुआ से ही सारी बरकत है; वरना अपना कहने वाले लोग तो याद भी नहीं करते! |
ज़िंदगी की तपिश को सहन कीजिये जनाब, अक्सर वे पौधे मुरझा जाते हैं, जिनकी परवरिश छाया में होती हैं! |
आपकी बचकानी हरकतें ही आपको जिंदा-दिल रखती है... वरना...समझदारी का दूसरा नाम बुढापा है! |
दुनिया के सारे दुःख एक तरफ और... . . . . . . उसी तरफ मैं! ऐसी ही है ज़िन्दगी! |
कोरोना मोहब्बत की तरह है, आपको पता भी नहीं चलेगा कब हो गया! |
स्वीकार करने की हिम्मत और सुधार करने की नियत हो तो इंसान बहुत कुछ सीख सकता है! |
बचपन की यादें: बचपन में पेन की रिफिल खरीदकर लाते थे! पहली बार थोड़ी से काटकर पेन में डालते थे, जब ज्यादा कट जाती थी, पीछे कागज़ डालते थे! |
कदर और वक्त भी कमाल के होते हैं! जिसकी कदर करो वो वक्त नहीं देता और जिसको वक्त दो, वो कदर नहीं करता! |
इंटरव्यू लेने वाले ने पूछा: तुम्हारा नाम क्या है? हरियाणवी: विजय दीनानाथ चौहान! इंटरव्यू लेने वाला: लेकिन फॉर्म में तो तुमने अपना नाम रामफल लिखा है? हरियाणवी: फेर क्यों सुआद ले है? |