शादी मतलब:
आप मुझे नसीब से मिले हो से लेकर नसीब फूटे थे जो तुम मिले, तक का सफर!
शादी मतलब:
अजी सुनते हो, से लेकर बहरे हो गए हो क्या? तक का सफर!
शादी मतलब:
तुम्हें ही याद कर रही थी से लेकर याद करने के अलावा और भी बहुत काम हैं, तक का सफर!
आदमी: गुरू जी, मुझे बताइये, मैं कैसे अपने अंदर झाँकू? कैसे अपनी कमियां ढूँढू?
गुरु जी: बेटा बहुत आसान है, शादी कर लो। तुम्हारी पत्नी न केवल तुम्हारी, बल्कि तुम्हारे पूरे ख़ानदान की कमियां इतनी बार गिनवाएगी कि तुम्हें याद हो जाएँगी।
शादी मतलब:
कहाँ गई थी जान से लेकर कहाँ मर गई थी, तक का सफर!
शादी मतलब:
तेरे जैसा कोई नहीं से लेकर तेरे जैसे बहुत देखे हैं, तक का सफर!
स्त्री की तारीफ कीजिए उसमें कोई शक नहीं है,
क्योंकि वह खुद का घर छोड़कर आती है पर कभी पुरुष के लिए भी दो शब्द बोला करो जो अंजान स्त्री को खुद का घर सौंप देता है।
एक दोस्त ने पूछा, "क्या है, परिवर्तन की परिभाषा?"
गालिब: "जो कभी बादलों की गरज से डर कर, लिपट जाती थी मुझसे; आज वह खुद बादलों से भी ज्यादा गरजती है।"
बचपन में डराया जाता था कि मेंढक को पत्थर मारोगे तो गूंगी पत्नी मिलेगी।
कितना डरते थे तब... अब लगता है काश मार ही दिया होता।
पति: तुम मायके जाती हो तो कैसा महसूस करती हो?
पत्नी: हम औरतों की उम्र 45 क्यों न हो, मायके में पैर रखते ही 16 की उम्र वाली फीलिंग आ जाती है।
पति: ओह अच्छा।
पत्नी: तुम कहो, तुम्हें ऐसी 16 की उम्र वाली फीलिंग कब आती है?
पति: बस, हमारा भी वही, जब तुम मायके जाती हो।



