Saleem Kausar Hindi Shayari

  • और इस से पहले कि साबित हो जुर्म-ए-ख़ामोशी;</br>
हम अपनी राय का इज़हार करना चाहते हैं!Upload to Facebook
    और इस से पहले कि साबित हो जुर्म-ए-ख़ामोशी;
    हम अपनी राय का इज़हार करना चाहते हैं!
    ~ Saleem Kausar
  • कभी इश्क़ करो और फिर देखो इस आग में जलते रहने से;<br/>
कभी दिल पर आँच नहीं आती कभी रंग ख़राब नहीं होता!Upload to Facebook
    कभी इश्क़ करो और फिर देखो इस आग में जलते रहने से;
    कभी दिल पर आँच नहीं आती कभी रंग ख़राब नहीं होता!
    ~ Saleem Kausar
  • कहानी लिखते हुए दास्ताँ सुनाते हुए;<br/>
वो सो गया है मुझे ख़्वाब से जगाते हुए!Upload to Facebook
    कहानी लिखते हुए दास्ताँ सुनाते हुए;
    वो सो गया है मुझे ख़्वाब से जगाते हुए!
    ~ Saleem Kausar
  • तुझे दुश्मनों की खबर न थी मुझे दोस्तों का पता नहीं;
    तेरी दास्ताँ कोई और थी मेरा वाकिया कोई और है।
    ~ Saleem Kausar