कैसे कह दूँ कि मुझे छोड़ दिया है उस ने; बात तो सच है ये मगर बात है रुस्वाई की। |
सब कुछ है मेरे पास पर दिल की दवा नहीं; दूर है वो मुझसे पर मैं उससे ख़फ़ा नहीं; मालूम है कि वो अब भी प्यार करता है मुझसे; वो थोड़ा सा ज़िद्दी है मगर बेवफ़ा नहीं। |
मोहब्बत का नतीजा दुनिया में हमने बुरा देखा; जिन्हें दावा था वफ़ा का उन्हें भी हमने बेवफा देखा। |
ना पूछ मेरे सब्र की इंतेहा कहाँ तक है; कर ले तू सितम, तेरी हसरत जहाँ तक है; वफ़ा की उम्मीद, जिन्हें होगी उन्हें होगी; हमें तो देखना है तू बेवफ़ा कहाँ तक है। |
कभी करीब तो कभी जुदा है तू; जाने किस-किस से खफा है तू; मुझे तो तुझ पर खुद से ज्यादा यकीं था; पर ज़माना सच ही कहता था कि बेवफ़ा है तू। |
जानते थे कि नहीं हो सकते कभी तुम हमारे; फिर भी खुदा से तुम्हें माँगने की आदत हो गयी; पैमाने वफ़ा क्या है, हमें क्या मालूम; कि बेवफाओं से दिल लगाने की आदत हो गयी। |
मेरी ज़िंदगी तो गुज़री तेरे हिज्र के सहारे; मेरी मौत को भी प्यारे कोई चाहिए बहाना। |
ज़िन्दगी से बस यही गिला है; ख़ुशी के बाद क्यों ये गम मिला है; हमने तो उनसे वफ़ा की थी; पर नहीं जानते थे कि बेवफाई ही वफ़ा का सिला है। |
हम जमाने में यूँ ही बेवफ़ा मशहूर हो गये 'फराज'; हजारों चाहने वाले थे किस-किस से वफ़ा करते। |
जाने मेरी आँखों से कितने आँसू बह गए; इंसानो की इस भीड़ में देखो हम तनहा रह गए; करते थे जो कभी अपनी वफ़ा की बातें; आज वही सनम हमें बेवफ़ा कह गए। |