Anwar Shuoor Hindi Shayari

  • इत्तेफ़ाक़ अपनी जगह ख़ुश-क़िस्मती अपनी जगह;</br>
ख़ुद बनाता है जहाँ में आदमी अपनी जगह!Upload to Facebook
    इत्तेफ़ाक़ अपनी जगह ख़ुश-क़िस्मती अपनी जगह;
    ख़ुद बनाता है जहाँ में आदमी अपनी जगह!
    ~ Anwar Shuoor
  • अच्छा ख़ासा बैठे बैठे गुम हो जाता हूँ;<br/>
अब मैं अक्सर मैं नहीं रहता तुम हो जाता हूँ!Upload to Facebook
    अच्छा ख़ासा बैठे बैठे गुम हो जाता हूँ;
    अब मैं अक्सर मैं नहीं रहता तुम हो जाता हूँ!
    ~ Anwar Shuoor