Tabish Siddiqui Hindi Shayari

  • इक उम्र हुई और मैं अपने से जुदा हूँ;<br/>
ख़ुशबू की तरह ख़ुद को सदा ढूँड रहा हूँ!Upload to Facebook
    इक उम्र हुई और मैं अपने से जुदा हूँ;
    ख़ुशबू की तरह ख़ुद को सदा ढूँड रहा हूँ!
    ~ Tabish Siddiqui