गिला शिकवा Hindi Shayari

  • कहते हैं दिल से ज्यादा महफूज जगह नहीं दूनिया में और कोई;
    फिर भी ना जाने क्यों सबसे ज्यादा यहीं से लोग लापता होते हैं।
  • तुम्हें शिकायत है कि मुझे बदल दिया है वक़्त ने;<br/>
कभी खुद से भी तो सवाल कर कि क्या तू वही है।Upload to Facebook
    तुम्हें शिकायत है कि मुझे बदल दिया है वक़्त ने;
    कभी खुद से भी तो सवाल कर कि क्या तू वही है।
  • हँस कर कबूल क्या कर ली सजाएँ मैंने,
    ज़माने ने दस्तूर ही बना लिया हर इलज़ाम मुझ पर मढ़ने का।
  • भूल जाऊंगा उसी वक़्त उसी पल,
    बस तू उससे मिला दे जो मुझसे ज़्यादा चाहता है तुम्हें।
  • कहीं छत थी, दीवार-ओ-दर थे कहीं, मिला मुझे घर का पता देर से;<br/>
दिया तो बहुत ज़िन्दगी ने मुझे, मगर जो दिया, वो दिया देर से।Upload to Facebook
    कहीं छत थी, दीवार-ओ-दर थे कहीं, मिला मुझे घर का पता देर से;
    दिया तो बहुत ज़िन्दगी ने मुझे, मगर जो दिया, वो दिया देर से।
    ~ Nida Fazli
  • तू न कर ज़िक्र-ए-मोहब्बत कोई गम नहीं;<br/>
तेरी ख़ामोशी भी सच बयाँ कर देती है।Upload to Facebook
    तू न कर ज़िक्र-ए-मोहब्बत कोई गम नहीं;
    तेरी ख़ामोशी भी सच बयाँ कर देती है।
  • हाथों की लकीरों के फरेब में मत आना;
    ज्योतिषों की दुकान पर मुक्कदर नहीं बिकते।
  • दिलों की बात करता है ज़माना;
    लेकिन मोहब्बत आज भी चेहरों से शुरू होती है।
  • बड़ी अजीब सी है शहरों की रौशनी,
    उजालों के बावजूद चेहरे पहचानना मुश्किल है।
  • वहम से भी अक्सर खत्म हो जाते हैं कुछ रिश्ते,
    कसूर हर बार गल्तियों का नही होता।