समंदर बेबसी अपनी किसी से कह नहीं सकता; हजारों मील तक फैला है, फिर भी बह नहीं सकता! |
किसी ने यूँ ही पूछ लिया हमसे कि दर्द की कीमत क्या है; हमने हँसते हुए कहा, पता नहीं कुछ अपने मुफ्त में दे जाते हैं। |
वक्त इशारा देता रहा और हम इत्तेफाक़ समझते रहे; बस यूँ ही धोखे ख़ाते गए और इस्तेमाल होते रहे! |
तुम्हारी एक मुस्कान से सुधर गई तबियत मेरी; बताओ ना तुम इश्क करते हो या इलाज करते हो! |
तुम्हारा नाम, किसी अजनबी की जुबान पर था; बात जरा सी थी, पर चुभी बहुत! |
मुठ्ठियों में कैद है जो खुशियाँ सब में बांट दो; तेरी हो चाहे मेरी हो एक दिन हथेलियां तो खुल ही जानी हैं! |
पता है गलत हो, फिर भी अड़े हो; तुम दिल दुखाने में, माहिर बड़े हो! |
मैं तुम्हें इसलिए सलाह नहीं दे रहा हूँ कि मैं ज्यादा समझदार हूँ; बल्कि इसलिए दे रहा हूँ कि मैंने जिन्दगी में गलतियां तुम से ज्यादा की हैं! |
पलक से पानी गिरा है तो उसको गिरने दो; कोई पुरानी तमन्ना पिघल रही है पिघलने दो! |
ढूंढोगे कहाँ मुझको, मेरा पता लेते जाओ; एक कबर नयी होगी एक जलता दिया होगा! |