वो मेरी आखिरी सरहद हो जैसे, सोच जाती ही नहीं उससे आगे। |
तेरे उतारे हुए दिन पहन के, अब भी मैं, तेरी महक में कई रोज़ काट देता हूँ। |
सफर वहीं तक है जहाँ तक तुम हो, नजर वहीं तक है जहाँ तक तुम हो, हजारों फूल देखे हैं इस गुलशन में मगर, खुशबू वहीं तक है जहाँ तक तुम हो। |
वजह पूछोगे तो उम्र गुजर जायेगी, कहा ना अच्छे लगते हो तो बस लगते हो। |
तस्वीर में ख्याल होना तो लाज़मी सा है; मगर एक तस्वीर है, जो ख्यालों में बनी है। |
मैंने रंग दिया हर पन्ना तेरे नाम से, मेरी किताबों से, मेरी यादों से पूछ इश्क किसे कहते हैं। |
तेरी मोहब्बत की तलब थी इस लिए हाथ फैला दिए, वरना हमने तो कभी अपनी ज़िंदगी की दुआ भी नही माँगी। |
आँखों में आंसुओं की लकीर बन गयी; जैसी चाहिए थी वैसी तकदीर बन गयी; हमने तो सिर्फ रेत में उंगलियाँ घुमाई थी; गौर से देखा तो आपकी तस्वीर बन गयी। |
इश्क ने कब इजाजत ली है आशिक़ों से, वो होता है, और होकर ही रहता है। |
तू होश में थी फिर भी हमें पहचान न पायी, एक हम हैं कि पी कर भी तेरा नाम लेते रहे। |