बेवफ़ाई Hindi Shayari

  • एक बार फिर से निकलेंगे तलाश-ए-इश्क़ में;<br/>
दुआ करो यारो इस बार कोई बेवफ़ा न मिले!Upload to Facebook
    एक बार फिर से निकलेंगे तलाश-ए-इश्क़ में;
    दुआ करो यारो इस बार कोई बेवफ़ा न मिले!
  • कभी हम भी इसके क़रीब थे​;<br/>​​दिलो जान से बढ़ कर अज़ीज थे​;​<br/>​​मगर आज ऐसे मिला है वो​;​<br/>​कभी पहले जैसे मिला ना हो​।Upload to Facebook
    कभी हम भी इसके क़रीब थे​;
    ​​दिलो जान से बढ़ कर अज़ीज थे​;​
    ​​मगर आज ऐसे मिला है वो​;​
    ​कभी पहले जैसे मिला ना हो​।
    ~ Bashir Badr
  • ज़ख़्म जब मेरे सिने के भर जाएँगे;<br/>
आँसू भी मोती बनकर बिखर जाएँगे;<br/>
ये मत पूछना किस किस ने धोखा दिया;<br/>
वरना कुछ अपनो के चेहरे उतर जाएँगे।Upload to Facebook
    ज़ख़्म जब मेरे सिने के भर जाएँगे;
    आँसू भी मोती बनकर बिखर जाएँगे;
    ये मत पूछना किस किस ने धोखा दिया;
    वरना कुछ अपनो के चेहरे उतर जाएँगे।
  • चेहरों के लिए आईने कुर्बान किये है​;​​<br/>
इस शौक में अपने बड़े नुकसान किये है​;​​<br/>
महफ़िल में मुझे गालियाँ देकर है बहुत खुश​;​​<br/>
जिस शख्स पर मैंने बड़े एहसान किये है। Upload to Facebook
    चेहरों के लिए आईने कुर्बान किये है​;​​
    इस शौक में अपने बड़े नुकसान किये है​;​​
    महफ़िल में मुझे गालियाँ देकर है बहुत खुश​;​​
    जिस शख्स पर मैंने बड़े एहसान किये है।
    ~ Rahat Indori
  • हुनर अब आ गया मुझको​ ​वफाओं को परखने का;<br/>​
दिखावे की हर एक चाहत मैं वापिस मोड़ देता हूँ​। ​Upload to Facebook
    हुनर अब आ गया मुझको​ ​वफाओं को परखने का;
    ​ दिखावे की हर एक चाहत मैं वापिस मोड़ देता हूँ​। ​
  • एक तेरी खातिर परेशाँ हूँ मैं;<br/>
टूटे दिलों की जुबाँ हूँ मैं;<br/>
तूने ठुकराया जिसको अपनाकर;<br/>
उसी दीवाने का गुमां हूँ मैं।Upload to Facebook
    एक तेरी खातिर परेशाँ हूँ मैं;
    टूटे दिलों की जुबाँ हूँ मैं;
    तूने ठुकराया जिसको अपनाकर;
    उसी दीवाने का गुमां हूँ मैं।
  • ऐ दिल थोड़ी सी हिम्मत कर ना यार:<br/>
दोनों मिल कर उसे भूल जाते है। Upload to Facebook
    ऐ दिल थोड़ी सी हिम्मत कर ना यार:
    दोनों मिल कर उसे भूल जाते है।
  • उसने महबूब ही तो बदला है फिर ताज्जुब कैसा;<br />
दुआ कबूल ना हो तो लोग खुदा तक बदल लेते है!Upload to Facebook
    उसने महबूब ही तो बदला है फिर ताज्जुब कैसा;
    दुआ कबूल ना हो तो लोग खुदा तक बदल लेते है!
  • कदम यूँ ही डगमगा गए रास्ते में;<br/>
वैसे संभालना हम भी जानते थे;<br/>
ठोकर भी लगी तो उसी पत्थर से;<br/>
जिसे हम अपना मानते थे।Upload to Facebook
    कदम यूँ ही डगमगा गए रास्ते में;
    वैसे संभालना हम भी जानते थे;
    ठोकर भी लगी तो उसी पत्थर से;
    जिसे हम अपना मानते थे।
  • एक इंसान मिला जो जीना सिखा गया;<br/>
आंसुओं की नमी को पीना सिखा गया;<br/>
कभी गुज़रती थी वीरानों में ज़िंदगी;<br/>
वो शख्स वीरानों में महफ़िल सजा गया।Upload to Facebook
    एक इंसान मिला जो जीना सिखा गया;
    आंसुओं की नमी को पीना सिखा गया;
    कभी गुज़रती थी वीरानों में ज़िंदगी;
    वो शख्स वीरानों में महफ़िल सजा गया।