इंतजार Hindi Shayari

  • कोई उम्मीद बर नहीं आती,
    कोई सूरत नज़र नहीं आती;
    मरते हैं आरज़ू में मरने की,
    मौत आती है पर नहीं आती;
    काबा किस मुँह से जाओगे 'ग़ालिब',
    शर्म तुम को मगर नहीं आती!
    ~ मिर्ज़ा ग़ालिब
  • तू नहीं तो तिरा ख़याल सही;
    कोई तो हम-ख़याल है मेरा!
    ~ साक़ी अमरोहवी
  • महीने फिर वही होंगे सुना है साल बदलेगा!
    परिंदे फिर वही होंगे शिकारी जाल बदलेगा!!
    वही हाकिम, वही ग़ुरबत, वही कातिल, वही गाज़िब!
    न जाने कितने सालों में मुल्क का हाल बदलेगा!!
    ~ Ajaz khan
  • राह देखेंगे तेरी चाहे ज़माने लग जाएँ;
    या तो आ जाए तू या हम ही ठिकाने लग जाएँ..!
    ~ इरफ़ान ज़ाफरी
  • ग़ज़ब किया तेरे वादे पे ऐतबार किया;<br />
तमाम रात क़यामत का इंतिज़ार किया!Upload to Facebook
    ग़ज़ब किया तेरे वादे पे ऐतबार किया;
    तमाम रात क़यामत का इंतिज़ार किया!
    ~ Dagh Dehlvi
  • ये कैसा नशा है मैं किस अजब ख़ुमार में हूँ;</br>
तू आ के जा भी चुका है मैं इंतज़ार में हूँ!Upload to Facebook
    ये कैसा नशा है मैं किस अजब ख़ुमार में हूँ;
    तू आ के जा भी चुका है मैं इंतज़ार में हूँ!
    ~ Muneer Niyazi
  • आहट सी कोई आए तो लगता है कि तुम हो;</br>
साया कोई लहराए तो लगता है कि तुम हो!Upload to Facebook
    आहट सी कोई आए तो लगता है कि तुम हो;
    साया कोई लहराए तो लगता है कि तुम हो!
  • किस किस तरह की दिल में गुज़रती हैं हसरतें;</br>
है वस्ल से ज़्यादा मज़ा इंतज़ार का!</br></br>
*वस्ल: मिलनUpload to Facebook
    किस किस तरह की दिल में गुज़रती हैं हसरतें;
    है वस्ल से ज़्यादा मज़ा इंतज़ार का!

    *वस्ल: मिलन
    ~ Taban Abdul Hai
  • कभी तो दैर-ओ-हरम से तू आएगा वापस;</br>
मैं मय-कदे में तेरा इंतज़ार कर लूँगा!</br></br>
*मय-कदे: शराब पीने का स्थान, मदिरालयUpload to Facebook
    कभी तो दैर-ओ-हरम से तू आएगा वापस;
    मैं मय-कदे में तेरा इंतज़ार कर लूँगा!

    *मय-कदे: शराब पीने का स्थान, मदिरालय
    ~ Abdul Hameed Adam
  • फिर बैठे बैठे वादा-ए-वस्ल उस ने कर लिया;</br>
फिर उठ खड़ा हुआ वही रोग इंतज़ार का!</br></br>
*वादा-ए-वस्ल: मिलने का वादाUpload to Facebook
    फिर बैठे बैठे वादा-ए-वस्ल उस ने कर लिया;
    फिर उठ खड़ा हुआ वही रोग इंतज़ार का!

    *वादा-ए-वस्ल: मिलने का वादा
    ~ Amir Meenai